DAP Urea Free Scheme: 10 करोड़ किसानों के लिए खुशखबरी, अब खाद पर नहीं खर्च होगा ₹1 भी

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DAP Urea Free Scheme

किसानों को बड़ी राहत मिली है क्योंकि सरकार ने डीएपी (डाइ-अमोनियम फॉस्फेट) और यूरिया खाद के मुफ्त आवंटन को मंजूरी दे दी है। यह कदम किसानों की लागत को कम करने और खेती को और अधिक लाभकारी बनाने के लिए उठाया गया है। खाद की कीमतें लगातार बढ़ रही हैं और इसके कारण किसानों को उर्वरक उपलब्ध कराने में परेशानी हो रही थी।

लेकिन अब सरकार की इस नई योजना के तहत उन्हें डीएपी और यूरिया खाद मुफ्त मिलेंगे, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार होगा और फसलों की पैदावार में बढ़ोतरी होगी। यह योजना भारतीय किसानों के लिए केंद्र और राज्य सरकार की एक साझा पहल है, जिसमें खरीफ फसल सीजन के दौरान खाद की समय पर और पर्याप्त आपूर्ति सुनिश्चित करने पर खास ध्यान दिया गया है। किसानों को खाद की कमी और कालाबाजारी जैसी समस्याओं से बचाने के लिए सरकार ने खाद की पर्याप्त मात्रा आवंटित की है और वितरण का प्रभावी प्रबंध किया जा रहा है।

साथ ही, जो खाद उपलब्ध होगी वह किसानों तक उचित मूल्य पर या मुफ्त पहुंचाई जाएगी ताकि उत्पादन में कोई बाधा न आए।

DAP Urea Free Scheme: Full Details

सरकार ने हाल ही में खरीफ सीजन 2025 के लिए डीएपी और यूरिया खाद के पर्याप्त आवंटन को मंजूरी दी है। इस योजना से हर किसान को निर्धारित मात्रा में डीएपी और यूरिया मुफ्त मिलेगा। उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों में केंद्र सरकार द्वारा हजारों टन यूरिया और डीएपी भेजे गए हैं, जिन्हें किसानों तक पहुंचाने का कार्य जारी है। राज्य सरकारें भी खाद आपूर्ति की निगरानी पूरी सतर्कता से कर रही हैं।

योजना का मुख्य उद्देश्य किसानों की लागत कम करना है, ताकि वे उर्वरक खरीदने के लिए आर्थिक तौर पर बोझिल न हों। इस योजना के तहत प्रति किसान सीमित संख्या में डीएपी और यूरिया खाद की बोरी मुफ्त उपलब्ध कराई जाएगी। इससे न केवल किसानों के उत्पादन लागत में कमी आएगी बल्कि वे बेहतर गुणवत्ता वाली खाद का उपयोग कर अपनी फसल की उपज भी बढ़ा सकते हैं।

किसानों को खाद की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए सरकार ने खाद कंपनियों पर सख्त निगरानी रखी है और कालाबाजारी व ओवररेटिंग जैसी शिकायतों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई का निर्देश दिया है। यदि किसी किसान को खाद उपलब्ध नहीं होती या उसे अनियमितता का सामना करना पड़ता है तो वह संबंधित जिला कृषि अधिकारी या राज्य कंट्रोल रूम में शिकायत दर्ज कर सकता है।

इस योजना के अंतर्गत डीएपी और यूरिया की कीमतों में भी स्थिरता बनाए रखने का प्रयास किया गया है। यद्यपि अंतरराष्ट्रीय बाजार में उर्वरकों की कीमतें बढ़ रही हैं, फिर भी किसानों को डीएपी ₹1350 प्रति बोरी और यूरिया 45 किलो की बोरी ₹242 में उपलब्ध कराई जा रही है। यह कीमतें सरकारी नियंत्रण में हैं ताकि किसानों को अधिक दाम न चुकाने पड़ें।

सरकार द्वारा संचालित अन्य योजनाओं जैसे प्रधानमंत्री किसान खाद योजना के तहत भी किसानों को खाद पर सब्सिडी मिलेगी। इसमें छोटे और सीमांत किसानों को खाद पर सीधे बैंक खाते में सब्सिडी का भुगतान किया जाता है, जिससे बिचौलियों से बचाव होता है। खाद की इस योजना में किसान करीब ₹11,000 तक की सब्सिडी प्राप्त कर सकते हैं।

  • डीएपी और यूरिया खाद का मुफ्त वितरण किसानों की आर्थिक मदद करता है।
  • खाद की कालाबाजारी और कमी को रोकने के लिए कड़ा नियंत्रण रखा जा रहा है।
  • खाद कंपनियों को निर्धारित आवंटन के अनुसार सप्लाई करनी होगी।
  • किसान खाद के लिए अधिकतम गुणवत्ता और उचित मूल्य पा सकेंगे।
  • खाद की खरीद हेतु आवेदन प्रक्रिया सरल और पारदर्शी होगी।

यह योजना किसका भाग है?

यह योजना केंद्र सरकार द्वारा खेती में लागत कम करने, किसानों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने और उत्पादन बढ़ाने के उद्देश्य से चलाई जा रही है। खरीफ सीजन 2025 के लिए केंद्रीय कैबिनेट ने उर्वरकों पर सब्सिडी (NBS) योजना को मंजूरी दी है, जिसके अंतर्गत डीएपी, यूरिया और अन्य उर्वरकों की सब्सिडी बढ़ाई गई है। इससे किसानों को सस्ती और उच्च गुणवत्ता वाली खाद उपलब्ध होती है।

योजना की एक विशेषता यह भी है कि खाद कंपनियों द्वारा उर्वरकों का वितरण सहकारिता और निजी क्षेत्र दोनों के माध्यम से किया जाता है। साथ ही सरकार ने खाद की कालाबाजारी रोकने के लिए ठोस कदम उठाए हैं। किसान अपने क्षेत्र के अधिकृत केंद्रों से ही खाद लें, ताकि नकली या घटिया खाद से बचाव हो सके।

सरकार का लक्ष्य है कि इस योजना से किसानों को प्रति एकड़ फसल के लिए आवश्यक खाद सही समय पर मिले ताकि उनकी फसल की पैदावार प्रभावित न हो। योजना के सफल क्रियान्वयन से किसान न केवल अपने उत्पादन लागत को घटाएंगे, बल्कि उनकी आमदनी में भी वृद्धि होगी।

आवेदन और लाभ के लिए क्या करना होगा?

किसान इस योजना का लाभ पाने के लिए अपने क्षेत्र के कृषि विभाग या संबंधित सरकारी केंद्रों में आवेदन कर सकते हैं। अक्सर राज्य सरकारें अपने कृषि विभाग वेबसाइट या स्थानीय कृषि कार्यालयों के माध्यम से आवेदन स्वीकार करती हैं। आवेदन के लिए किसानों को अपनी पहचान, खेती से संबंधित विवरण और बैंक खाता जानकारी देना आवश्यक होता है।

सरकार के इस कदम के तहत दो बोरी तक डीएपी और यूरिया खाद प्रति किसान मुफ्त या कम कीमत में उपलब्ध कराई जाती है। आवेदन प्रक्रिया में किसान को कृत्रिम बाधाओं से बचाते हुए सरलता प्रदान की जाती है ताकि ज्यादा से ज्यादा पात्र किसान योजना का लाभ उठा सकें।

इसी के साथ, खाद संबंधी किसी भी समस्या जैसे वितरण में देरी, कालाबाजारी आदि के लिए किसानों को शिकायत करने हेतु विशेष हेल्पलाइन और नियंत्रण कक्ष बनाए गए हैं। यह प्रणाली पारदर्शी और जवाबदेह बनाने में सहायक सिद्ध हो रही है।

निष्कर्ष

सरकार द्वारा डीएपी और यूरिया खाद के मुफ्त आवंटन की मंजूरी किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण राहत है। यह योजना किसानों की लागत कम करते हुए उनकी कृषि उत्पादन क्षमता को बढ़ाने में मदद करेगी। किसानों को खाद उपलब्ध कराने की यह पहल कृषि क्षेत्र को सशक्त बनाने और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती देने की दिशा में बड़ा कदम है। इस योजना से किसानों के जीवन में सकारात्मक बदलाव और आर्थिक स्थिरता की उम्मीद बनी है।

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